Search This Blog

Friday 7 February 2014

''लड़ार्इ बाकी है''

ऐ नौजवानों उठो,
लड़ार्इ बाकी है अभी,
इस देश के रणक्षेत्र में,
लड़ार्इ बाकी है अभी।

तैयार करो इस देश को,
क्योंकि बुरार्इ बाकी है अभी,
नेताओं का वर्चस्व है,
नेतृत्व बाकी है अभी।

हर तरफ है, स्वार्थ पड़ा,
मानवता बाकी है अभी,
पढ़ लिये, पढ़ा लिये,
पर शिक्षा बाकी है अभी।

ऐ रणवीरो चलो कर्मक्षेत्र में,
देखो इस देश में,
कहीं-कहीं जागरूकता बाकी है अभी।

स्वतंत्रता तो मिल गर्इ, इस देश को,
आजादी बाकी है अभी,
तिरंगा तो लहरा लिए,
पर रंगों का मेल बाकी है अभी।

-          प्रीति उपाध्याय
शिक्षा मित्र, प्राथमिक विधालय वार
विकास क्षेत्र-पिण्डरा, वाराणसी

E-mail : preeti14783@gmail.com

1 comment: